Work-Life Balance

“जीवन की सच्ची सफलता तब होती है जब आप काम में व्यस्त नहीं, बल्कि संतुलित होते हैं।”

1. काम के प्रति समर्पण, लेकिन सीमाओं के साथ

पहले मैं काम को ही जीवन मानता था — सुबह से रात तक सिर्फ़ काम, लक्ष्य और डेडलाइन।
लेकिन धीरे-धीरे समझ आया कि अगर मैं थक जाऊँगा तो न काम बचेगा, न जुनून।

अब मैं दिन की शुरुआत स्पष्ट इरादे से करता हूँ —
✔ कौन-से 3 काम आज सच में ज़रूरी हैं?
बाकी को “कल” या “किसी और को” सौंप देता हूँ।
काम करना ज़रूरी है, लेकिन स्मार्ट तरीके से, न कि लगातार जलते हुए।

2. जीवन में रिश्ते और अनुभव भी ज़रूरी हैं

काम के बाहर भी एक दुनिया है —
परिवार, दोस्त, और वो पल जब आप बस जी रहे होते हैं, कुछ कर नहीं रहे होते।

अब मैं अपने सप्ताह में “नॉन-वर्क” समय भी शेड्यूल करता हूँ:

  • हर रविवार बिना किसी मीटिंग का दिन

  • डिनर के दौरान मोबाइल न छूना

  • महीने में एक दिन प्रकृति में अकेले घूमना

ये छोटे-छोटे पल मुझे याद दिलाते हैं कि जीवन सिर्फ़ करियर नहीं, एक अनुभव है।

3. आत्म-देखभाल (Self-Care) को प्राथमिकता देना

पहले लगता था कि “सेल्फ-केयर” का मतलब है महंगे स्पा या छुट्टियाँ
अब समझ आया कि यह आंतरिक रीसेट है।

मेरे लिए सेल्फ-केयर का अर्थ है —

  • हर सुबह 10 मिनट ध्यान

  • रात में एक आभारी विचार (Gratitude) लिखना

  • हफ्ते में एक बार डिजिटल डिटॉक्स

जब मन और शरीर दोनों ताज़ा रहते हैं, तब रचनात्मकता स्वाभाविक रूप से बढ़ती है।

4. सीमाएँ बनाना सीखें — “ना” कहना भी एक कला है

हम अक्सर सबको खुश करने की कोशिश में खुद को भूल जाते हैं।
मैंने सीखा है —

“हर ‘हाँ’ के साथ आप अपने समय का एक हिस्सा दे रहे हैं।”

अब मैं उन कार्यों को ही स्वीकार करता हूँ जो मेरे मूल्यों और लक्ष्यों से मेल खाते हैं।
बाकी को विनम्रता से “ना” कह देना ही मानसिक शांति का सबसे आसान तरीका है।

5. हर दिन थोड़ा संतुलन बनाना ही सफलता है

कभी दिन पूरी तरह काम का होता है, कभी परिवार का, कभी खुद का।
और यह ठीक है — क्योंकि संतुलन कोई एक स्थिति नहीं, बल्कि एक निरंतर प्रक्रिया है।

हर दिन बस इतना कर पाना कि —

  • मैं कुछ नया सीखूँ,

  • कुछ अच्छा अनुभव करूँ,

  • और खुद से थोड़ा ज़्यादा जुड़ पाऊँ —
    यही मेरे लिए वर्क-लाइफ-संतुलन का मतलब है।

समापन: संतुलन कोई गंतव्य नहीं, एक यात्रा है

हम सबके लिए संतुलन का अर्थ अलग होता है —
किसी के लिए परिवार, किसी के लिए करियर, और किसी के लिए शांति।

महत्वपूर्ण यह नहीं कि आपके पास सब कुछ है या नहीं,
बल्कि यह कि आप अपने पास जो है, उसमें शांति पा रहे हैं या नहीं।

“सफल वही है जो अपने काम, जीवन और आत्मा — तीनों से जुड़ा हुआ है।”

coachbsr.in

Bhupenddra Singh Raathore (Also Known As Coach BSR) is an entrepreneur, Amazon bestselling author, philanthropist, and life & business strategist. Bhupenddra Singh Raathore is a towering name in the field of training, known for creating miraculous breakthroughs in the lives of people and businesses simultaneously. For more than a decade, millions of people have enjoyed the warmth, humor, and transformational power of Coach BSR’s business and personal development events. Coach BSR is the author of two Amazon bestsellers, including the recent groundbreaking book on 15 Days Public Speaking. CoachBSR has transformed more than 50 lac lives around the world through his live seminars, educational videos, and Online Training.

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